Saturday, October 1, 2016

हसरते




हसरते आज भी  खत लिखती है मुझे ,
                                                                "रस्क"  मैं अब पुराने पते पर नहीं रहता !!

Tu bhi nahi

 गलतियों से जुदा तू भी नहीं, मैं भी नहीं। दोनों इंसान हैं , खुदा तू भी नहीं,मैं भी नहीं...... गलतफहमियों ने कर दी दोनों में पैदा दूरियां  वर...